नमस्कार दोस्तों, आज के लेख में हम बात करेंगे गुजरात के सबसे लोकप्रिय Traditional festival Navaratri के बारे में।
Navaratri हिन्दू धर्म का सबसे महत्वपूर्ण त्यौहार है, Navaratri शब्द एक संस्कृत शब्द पर से रखा गया है, संस्कृत में Navaratri का अर्थ होता है “नौ राते”।
इन नौ राते में सब लोग माँ अंबे माँ की पूजा भक्ति करते है और दशवे दिन को दशहरा के नामसे जाना जाता है।

दशहरा के दिन सत्य की जित होती है असत्य पर, दशहरा के दिन रावण को जलाया जाता है।
और बहुत सारी मिठाई खायी जाती है।
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नवरात्रि वर्ष में चार बार आती है, और गुजरात के अहमदाबाद की Navaratri पूरी दुनिया में लोकप्रिय है। गुजरात में Navaratri को डांडिया और गरबा के रूप में जाना जाता है।

नवरात्री के समय में नव देवियाँ की पूजा-भक्ति की जाती है जिसके नाम नीचे दिए है:
Navaratri के नव देवियाँ की पूजा-भक्ति
नवरात्री दिन 1: माँ शैलीपुत्री पूजा
नवरात्री दिन 2: माँ ब्रह्मचारिणी पूजा
नवरात्री दिन 3: माँ चंद्रघंटा पूजा
नवरात्री दिन 4: माँ कुष्मांडा पूजा
नवरात्री दिन 5: माँ स्कंदमाता पूजा
नवरात्री दिन 6: माँ कात्यायनी पूजा
नवरात्री दिन 7: माँ कालरात्रि पूजा
नवरात्री दिन 8: माँ महागौरी, दुर्गा महा नवमी पूजा, दुर्गा महा अष्टमी पूजा
नवरात्री दिन 9: माँ सिद्धिदात्री, नवरात्री पारणा, विजय दशमी
नवरात्री दिन 10: दशमी, दुर्गा विसर्जन
नवरात्री त्यौहार की पौराणिक मान्यता।

हमारे शास्त्रों, और वेदों के मुताबिक नवरात्रि में भगवान श्री राम ने देवी शक्ति की आराधना कर के राक्षस रावण का वध किया था, और समाज को यह समजाया की असत्य पर हमेशा सत्य की ही जित होती है।
नवरात्रि त्यौहार के पहले ३ दिन की परंपरा
नवरात्रि त्यौहार के पहले ३ दिन देवी दुर्गा की पूजा की जाती है। यह ३ दिन माँ देवी दुर्गा के एक अलग-अलग रूप को समर्पित है।
नवरात्रि के ४ से ६ दिन
इंसान जब वासना, अहंकार, क्रोध, और बुराई की प्रवृतियों पर विजय प्राप्त कर लेता है,तो वह एक पाखंडी हो जाता है,इसलिए नवरात्रि का चौथा, पांचवा और छठवे दिन लक्ष्मी- समृद्धि और शांति की देवी की पूजा की जाती है।
नवरात्रि का ७ और ८ दिन
सातवें दिन, अभ्यास और ज्ञान की देवी,माँ सरस्वती की पूजा की जाती है। आठवे दिन पर एक
‘हवन’ या ‘यज्ञ’ किया जाता है। यह एक भेंट है जो देवी दुर्गा को आदर तथा उनको विदा करता है।
नवरात्रि का ९ वा दिन
९ वा दिन नवरात्रि त्यौहार का अंतिम दिन होता है। यह दिन महानवमी के नाम से भी प्रचलित है। इस दिन नौ कन्याओं की पूजा की जाती है जो अभी तक यौवन की स्थिति तक नहीं पहुँची है। इन नौ कन्याओं को माँ देवी दुर्गा के नौ रूपों का प्रतीक भी माना जाता है।
नवरात्रि का १० वा दिन
नवरात्रि के दशवे दिन रावण नामके दुष्ट रक्षक को जलाया जाता है और खुशिया बाटी जाती है
नवरात्रि त्यौहार के नौ दिनों के नौ रंगों का महत्व
मान्यता है कि इन नौ रंगों का उपयोग करने से लक्ष्मी और शांति की प्राप्ति होती है।
पहला दिन – पीला
दूर दिन – हरा
तीसरा दिन – भूरा
चौथा दिन – नारंगी
पांचवा दिन – सफेद
छठवा दिन – लाल
सातवा दिन – नीला
आठवा दिन – गुलाबी
नवमा दिन – बैंगनी
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